1338+ Shayari On Sukoon In Hindi | सुकून शायरी हिन्दी में

Shayari On Sukoon In Hindi , सुकून शायरी हिन्दी में
Author: Quotes And Status Post Published at: September 4, 2023 Post Updated at: July 5, 2024

Shayari On Sukoon In Hindi : सुने पड़े इस दिल के तूफां में थोड़ा जुनूं-सा लाती है लबों से लबों की टकराहट थोड़ा सुकूं-सा लाती है। जब नज़रों में उनके हम नज़र आतें है वो ख़ुशी के चंद पल बरसों का सुकून दे जाते है।

मैं खुद पहल करूँ या उधर से हो इब्तिदा,बरसों गुज़र गए हैं यही सोचते हुए।

क्यों ख़तम हुआ ये रिश्ता जो तेरे मेरे दरमिया था तुझे तो अब घुटन होने लगी थी तेरे लिए ये रिश्ता और क्या था

जो आम नहीं वही काम कर रहे हो शहर जलाकर आराम कर रहे हो लोगो को सताना तो अपनी जगह है जानी आप तो क़तल-ए-आम कर रहे हो

यूँ तो मेरे शहर में परेशानी कोई ख़ास नहीं.!!लोग खामोश है पर सुकून किसी के पास नहीं.!!

मधुवन में भले ही कान्हा किसी गोपी से मिले,मन में तो राधा के ही प्रेम के फूल खिले।

मुझे खौफ कहां  मौत का, मैं तो जिंदगी से डर गया हूं।।

तेरे इश्क ने दिया सुकून इतना,कि तेरे बाद कोई अच्छा न लगे,तुझे करने है बेवफाई तो इस अदा से कर,कि तेरे बाद कोई बेवफा न लगे।

सपनों के चक्कर में नींद बेच दी.!!ऐशो-आराम खरीदने के लिए सुकून बेच दिया.!!

मैं वो क्यों बनु जो तुम्हें चाहिएतुम्हें वो कबूल क्यों नहींजो मैं हूंMain vo kyon Banu Jo Tumhen chahie Tumhen vo Qubool Kyon NhiJo Main Hun

कहते थे तुम सब हूँ मैं तुम्हारे लिए खुद रब हूँ मैं तुम भी बदल गए मौसमों की तरह तुम कहाँ कहाँ अब हूँ मैं

कुछ ना मिले तो कोई गम नहीं।ए माँ बस तेरे आंचल की छांवसर पर रहे तो यह जन्नत से कम नहीं।

जिस माँ का ख्यालउस की औलाद रखती होउस माँ से ज्यादा खुश किस्मत तोकोई राजमाता भी नहीं होगी।

सभी को सुकून की तलाश है,सभी को कुछ पाने की आस है,चुनौतियों को देखकर जो डरा नहीं,उसी में भरा आत्मविश्वास है।

बहुत मुस्कुराते हैं वो लोग साहेब जो अंदर से टूटे होते हैं

दूरिया बस एक शख्स से हुई थी अकेला मेरा पूरा जहांन हो गया रास्ता बस एक बंद हुआ था तबाह मेरा पूरा कारवां हो गया

चाय के नशे का आलम तो कुछ, यह है गालिब कोई राई भी दे, तो अदरक वाली बोल देते हैं !

जब भी घर से बाहर निकलुमाँ एक ही शब्द कहती है “संभल कर जाना”बाकी सारे कहते हैं “जल्दी आना”

जरा ठहरो तो नजर भर देखु,ज़मीं पे  चांद कहां रोज-रोज उतरता है।।

वो बचपन भी क्या दिन थे मेरे न फ़िक्र कोई न दर्द कोई बस खेलो, खाओ, सो जाओ बस इसके सिवा कुछ याद नही.|

बिछड़ गए तो दिल उम्र भर लगेगा नहीं,लगेगा – लगने लगा यही है पर लगेगा नहीं।

अपने दर्द दिलो के दुखों के बयान करने में लव शायरी काफी कारगर हैं।Love shayari ऐसी होनी चाहिए जो दो प्यार करने वालों के दर्द को शब्दों में बयान कर सके।

मेरी सारी ख्वाहिशें कुछ पल में दम तोड़ दें.!!अगर मेरी बेकरारी का सुकून बन जाओ तुम.!!

आप बिना वजह चले गए मुझे बताओ क्या आपको शांति मिली?

तेरी आँखों में देख लेने भर से.!!मेरी आँखों को सुकून मिल जाता है.!!

सुकून की तलाश में हम मोहब्बत ढूंढने निकले थे,खरीदार हमारा दिल ले गया और दर्द दे गया।

नहीं मिला कोई मुझे मेरी तरह शहर में थे सारे तेरी तरह मैं सबकी ज़रुरत था ज़रुरत तक किसी ने समझा नहीं मुझे मेरी तरह

एक से बढ़के एककारोबारी मिले है दुनिया में..बस एक सुकून ऐ दिल कीदुकान नहीं मिलती..

यूँ बेवफाई कर तुम भी सुकून से ना रहे पाओगे इस जालिम दुनिया में देखना तुम भी किसी और की बेवफाई का शिकार हो जाओगे।

“ ज़िन्दगी सिक्के के दो पहलुओं की तरह है !कभी सुख तो कभी दुःख,जब सुख हो तो घमंड मत करना,और जब दुःख हो तो थोड़ा सब्र जरूर करना…!!

वैसे तो मुझे सबसे बात,करना अच्छा लगता है,पर जब तुमसे बात होती है,तो दिल को बड़ा सुकून मिलता है।

प्यार में कैसी थकन कह के ये घर से निकलीकृष्ण की खोज में वृषभानु-लली मीलों तक

सुकून मिलता है दो लफ्ज़ कागज पर उतारकर.!!कह भी देता हूँ – आवाज भी नहीं होती है.!!

अगर माँ की ममता कोऔलाद समझ जाएतो यह धरती स्वर्ग बन जाए

शहर बसाकर अब सुकून के लिए गाँव ढूँढते हैं,बड़े अजीब हैं हम लोग हाथ में कुल्हाड़ी लिए,छाँव ढूँढते हैं।

यूँ तो मेरे शहर में परेशानी कोई ख़ास नहीं,लोग खामोश है पर सुकून किसी के पास नहीं।

माँ के लिए मैं क्या शेर लिखू,माँ ने मुझे खुद शेर बनाया है

जहाँ सुकून मिला सिररखकर सो गए,जानवरों ने कभीखुदा से शिकायत नहीं की.

ना शायरी में मिलेगा,ना नग्मों में मिलेगा.!!ये सुकून बस माँ के क़दमों में मिलेगा.!!

बांके बिहारी का नाम लो सहारा मिलेगा,ये जीवन न तुमको दुबारा मिलेगा,डूब रही अगर कश्ती मझधार में,कृष्णा के नाम से सहारा मिलेगा।

गुलाम थे तोहम सब हिंदुस्तानी थेआज़ादी ने हमेंहिन्दू मुसलमान बना दियाGulam the to Hum Sab Hindustani theAzadi Ne HamenHindu Musalman bana diya

ख़ुशबू जैसे लोग मिले अफ़्साने मेंएक पुराना ख़त खोला अनजाने में

हुए पागल के अब कैसे कहें, हाँ एक मर्ज़ था जिसे मोहब्बत कहते हैं

सुकून और ज़रूरतों के बीच लड़ाई रूकती ही नहीं, ज़रूरतें मेरी सुकून के आगे कभी झुकती ही नहीं।

“माँ” यानी एक घना पेड़जो खुद तो धूप और बारिश में खड़ी रहेगी,लेकिन बच्चों को हर मुसीबत से बचाए रखेगी।इसीलिए तो“माँ” ही है “भगवान का दूसरा रूप”

तुम्हारे बाद सिर्फ लोग मिले.!!सुकून नहीं.!!!

मंजिल का जूनून तुम ही हो,कितना भी चलू राहो में,हर रोज की इस जहोजहत में,बस तुम ही एक सुकून हो।

काश एक सिरहाना ऐसा भी हो जहाँ मेरे गम सर रख कर सुकून से सो सके, काश एक कमरा ऐसा भी हो जहाँ मेरी आँखे चीख-चीख कर रो सके।

सुकून की तलाश में घर से निकला था, दुनियां भर के गम लेकर वापिस लौटा हूँ !!

हे कान्हा, तुम संग बीते वक़्त कामैं कोई हिसाब नहीं रखतीमैं बस लम्हे जीती हूँ,इसके आगे कोई ख्वाब नहीं रखती।

किसी को बंटवारे मेंघर मिला, तो किसी कोदुकान मिल गई,मैं घर में सबसे छोटा था,तो मुझे माँ मिल गई।Love you maa ❤️😘

मौत से लड़ कर जिसने हमें जन्म दिया,उस माँ का दिल कभी मत तोड़ना।

रोने की वजह भी न थी न हंसने का बहाना था क्यो हो गए हम इतने बडे इससे अच्छा तो वो बचपन का जमाना था |

इश्क़ भी अब एक सजा हो गया है किसी को “ना” कहना भी गुनाह हो गया है

किसी के चेहरे पर सुकून दिखता नहीं है.!!दौलत वालों यह बाजारों में बिकता नहीं है.!!

तुझसे प्यार करके ज़िंदा हूँ मैं अपने किये पर शर्मिंदा हूँ

प्रेम का परिचय शादी होती तोरुक्मणि के जगह राधा होती ।।

ए इंसान तू उसे कभी दुख मत देनाजिसकी वजह सेआज तेरा अस्तित्व खड़ा हैऔर वो सिर्फ तेरी माँ है

आजकल आम भी पेड़ से खुद गिरके टूट जाया करते हैं छुप-छुप के इन्हें तोड़ने वाला अब बचपन नहीं रहा

शोर भरी इस दुनिया में.!!सुकून भरा लम्हा हो तुम.!!

या तो काम से मिलो या फिर सुकून से मिलो, ये जल्दी बाज़ी का काम मुझे पसंद नहीं आता।

माँ की जरुरत हर उम्र में होती हैं।उम्र चाहे कितनी भी हो जाए,लेकिन सुकून तभी मिलता हैजब माँ अपना हाथ हमारे सर पर रखती हैं।

सुकून-ए-अहसास मोहब्बत जता जाती हैलागी जिससे लगन वो जिंदगी बता जाती हैउनसे मिलना ना हो मुमकिन फिर भी,ये नजरें इंतजार में सारा वक्त बिता जाती है

सुन्दर से भी अधिक सुंदर है तु,लोग तो पत्थर पूजते है,मेरी तो पूजा है तु,पूछे जो मुझसे कौन है तु ?हँसकर कहता हुँ,जिंदगी हुँ मैं और साँस है तु…

मोहब्बत के कुछ किस्से कहे ना गए कुछ मैं तुमको बता नही पाया कुछ तुम खुद भी समझ नही पाये

बड़े दिल से बनाया था आशियाना दिल का एक शख्स ने आकर सब तबाह कर दिया

“ संघर्ष में आदमी अकेला होता है,सफलता में दुनिया उसके साथ होती है,जब-जब जग किसी पर हँसा है,तब-तब उसी ने इतिहास रचा है…!!!

न जाने इन पहाड़ों को कौन सा जादू आता है कितनी भी दूर चला जाऊं अपनी और खींच लाते हैं

बुरे वक़्त की ये भी एक निशानी है हर अच्छा इंसान बुरा हो जाता है

सांसो में समाओ तो खुशबु है हम.!!और दिल में उतरो तो सुकून है हम.!!

ऐसी अमीरी का कोई फायदा नहीं,जिसमें सुकून की नींद ना आएं,ऐसे इश्क़ का कोई फायदा नहीं,महबूब को देखकर दिल को सुकून ना आएं.

उधर से इधर तक अधर तक हो तुम मगर हिज्र के अब सफर पर हो तुम

खिड़कियां खोल दी हमनेसुकून की तलाश में..आपकी यादों ने जैसेदौड़ लगा दी भीतर आने में..

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