661+ Shayari Before Dance Performance In Hindi | Dance shayari

Shayari Before Dance Performance In Hindi , Dance shayari
Author: Quotes And Status Post Published at: August 4, 2023 Post Updated at: February 8, 2025

Shayari Before Dance Performance In Hindi : जो शब्द ना अब तक कह पाएमेरे घुंघरुओं ने दास्ताँ बताई हैकौन कहता है यह कोई डांस हैमेरा मन जागा है उसी की यह अंगड़ाई है डांस तुम मेरे यार होबचपन वाला मेरा प्यार होदर्द देती है एडियां लेकिनदिल कहता है हर बार हो

आज फिर से उसके #कदम थिरकने लगे, जब बेड़ियाँ #घुंघरुओं का रूप लेने लगे!

“ नृत्य मधुवन में आज प्रीतमको धुंघरु साज त्याग के अंग रंगलाज नृत्य करुं हे अधिराज….!!

अरे वाह भाई का नाम लेकर ढूंढ रहे हैं खुद के लिए दुल्हन क्या बात हैं क्या बात हैं.

कुछ परिंदे उड़ रहे हैं आँधियों के सामने,उनमें ताकत ना सही पर होसला होगा ज़रूर।इसी तरह तक आगे बढ़ते रहे तो देखना,तय समंदर तक एक दिन फासला होगा ज़रूर।।

नृत्य का शौक़ीन होना,प्यार में पड़ने की दिशामें निश्चित कदम था

अब मैं हमारे मुख्य अतिथि का स्वागत करूंगा और उनसे मंच पर आकर दीप प्रज्वलन करने का अनुरोध करूंगा।

शब्दों के इत्तेफाक़ मेंयूँ बदलाव करके देखतू देख कर न मुस्कुराबस मुस्कुरा के देख

इम्तिहान समझकरसारे गम सहा करोशख़्सियत महक उठेगीबस खुश रहा करो

काम ऐसे करों जैसे कि तुम्हें पैसे# की जरूरत ही न हो. प्रेम ऐसे करो जैसे आपको कभी #चोट नहीं लगी. डांस ऐसे करो जैसे कोई #तुम्हे देख ही नहीं रहा है.

मीठी बात और चेहरे पर मुस्कान, ऐसे लोग ही है हमारी महफ़िल के शान.

ताली आप बजाओगे, बिखर जायेगा नूर,बज जायेगा ह्रदय में, बच्चों के संतूर,अधिक परिश्रम से किया, इनने आज धमाल,ये बच्चे हक़दार हैं, ताली हो भरपूर…

ये कौन आया, रौशन हो गयी महफ़िल किसके नाम से मेरे घर में जैसे सूरज निकला है शाम से.

कौन आया कि निगाहों में चमक जाग उठी, दिल के सोये हुए तरानों में खनक जाग उठी, किसके आने की खबर ले कर हवाएँ आई रूह खिलने लगी साँसों में महक जाग उठी

जैसा मूड हो वैसामंजर होता हैमौसम तो हर इंसान केअंदर होता है

यदि आप अपनी #आक्रामकता को छोड़ना चाहते हैं, तो उठो और #नृत्य करो.

“जिंदगी का हर पल हो उत्सव, ऐसे कृत्य हो जाएं कदम ऐसे पड़े धरती पर की जीवन नृत्य हो जाए”।

अहसास के रंग में डूब कर जब चलीकलम शब्द शब्द नृत्य करने लगे और #कविता बन गयी

वो खुद ही नाप लेते है बुलंदी आसमानों की,,,परिंदों को नहीं तालीम दी जाती उड़ानों की-2

मैं किसी और से बेहतर डांस करने कीकोशिश नहीं करता. मैं केवल अपनेआप से बेहतर नृत्य करनेकी कोशिश करता हूँ

पूजा हो मंदिर Me तो थाली भी चाहिए,गुलशन Hai गुल का तो माली भी चाहिए है,दिल Hai दिलवाला तो दिलवाली भी चाहिए,कार्यक्रम Hai हमारा तो आपकी ताली भी चाहिए…

शब्दों का वजन तो हमारे बोलने के भाव से ही पता चल जाताता हैं!! वैसे तो, दीवारों पर भी “वेलकम” लिखा ही होता हैं!!

#रात भर चलता रहा #नृत्य साँसों का देह के टेढ़े आँगन में

“ आज भी नृत्य करती हूं। उसी कोदिखाने के लिए किन्तु वो इसेभावनाओं का नाच समझे बैठा हैजाने क्यूं वह पुरुष प्रकृति को नहीं समझता…!!

“ ऊर्जा से भरा योग है नृत्य,हर लेता सारे रोग है नृत्य,खुशियों का स्त्रोत है नृत्य,जीवन जीने का शोध है नृत्य….!!

दिल को सुकून मिलता हैं मुस्कुराने से.महफ़िल में रौनक आती है दोस्तों के आने से,

आओ आज मुश्किलों को हराते हैंचलो आज दिन भर मुस्कुराते हैं

शब्दों का वजन तो हमारे बोलने के भाव से पता चलता हैं,वैसे तो, दीवारों पर भी “वेलकम” लिखा होता हैं।

नृत्य वह भक्ति है जिसमे लीन होने के पश्चात् आप नृत्य के सिवाय और कुछ नहीं जानते।

राधा को कान्हा देखकर हो जाते थेविदेह कान्हा की बांसुरी पे राधाका मनमयूर करे नृत्य

“ जब शरीर और आत्माका मिलन होता है,तब एक खुबसुरतनृत्य का श्रीजन होता है…!!

“ जो शब्द ना अब तक कह पाए मेरेघुंघरुओं ने दास्ताँ बताई है कौन कहता हैयह कोई डांस है मेरा मन जागा हैउसी की यह अंगड़ाई है…!!

वो आए घर Me हमारे ख़ुदा की क़ुदरत है कभीहम उन Ko कभी अपने घर को देखते हैं।

“ जिंदगी का हर पल हो उत्सव ऐसे कृत्य हो जाएंकदम ऐसे पड़े धरती पर की जीवन नृत्य हो जाए…!!

सुनता हूँ मैं कि आज वो तशरीफ़ लाएँगेअल्लाह सच करे कहीं झूटी ख़बर न हो

तुम जो आए हो तो शक्ल-ए-दर-ओ-दीवार है और कितनी रंगीन मिरी शाम हुई जाती है

अपनी एक ज़मी, अपना एक आकाश पैदा कर,तू अपने लिए एक नया इतिहास पैदा कर…मांगने से कब मिली है ख़ुशी मेरे दोस्त,तू अपने हर कदम पर विश्वास पैदा कर।।

“ य तो कला वरदान हैपर समझता समाजइसको सिर्फ़ “नाच” है…!!

जब हम उनके घर गए…कहने दिल से दिल लगा लो,उनकी माँ ने खोला दरवाज़ा,हम घवरा के बोले..आंटी बच्चो को पोलियो ड्राप पिलवा लो।

“ खुद को व्यक्त करनेका सबसे अच्छा तरीका नृत्य है…!!

रात भर चलता रहा #नृत्य साँसों का देह के टेढ़े आँगन में

तुम्हारा# जिक्र हो और दिल उछल पड़े #कहीं यही तो नहीं परिभाषा #नृत्य की

#आज भी तुम करती हो नृत्य# मेरे मन की भीगी सड़कों पर जहाँ से कोई #गुजरता नहीं अब

नृत्य ख़ुशी का इजहार है,ये राधा-कृष्ण का प्यार है,प्रसन्नता का ये इकरार हैनृत्य कलाओं का निहार है

“ नृत्य करती है सृजन में डूबी हुई एक पृथ्वीतो बदलते है दिन बीतता है समय!नृत्य करती है अवसाद में डूबी हुईएक नर्तकी तो भूल जाती हैदिन,समय और काल…!!

ये दिल पैसा शौहरत नहीं चाहता है ये चाहता है तो बस अपनी धुन में नाचना।

जीत की खातिर बस जुनून चाहिए,जिसमें उबाल हो एसा खून चाहिए |यह आसमां भी आएगा ज़मी पर,बस इरादों में जीत कि गुंज चाहिए ||

दिलों में विश्वास पैदा करता है, हम सुब में कुछ आस पैदा करता है… मिटटी की बात तो अलग है, इश्वर तो पत्थरों में भी घास पैदा करता है||

जोड़ने वाले को मान मिलता है,तोड़ने वाले को अपमान मिलता है,और जो खुशियाँ बाँट सके,दुनिया मे उसे सम्मान मिलता है…

रक्स ना कर अपनी खुशीपर इस कदर दूसरों का दर्दभी तुझ ही से वाबस्ता है

जो खो गया उसके लिए रोया नहीं करते, जो पा लिया उसे खोया नहीं करते| उनके ही सितारे चमकते है ए दोस्, जो मजबूरियों का रोना रोया नहीं करते||

“ क्रोध को समेट लेता है नृत्य, मन को मोहलेता है नृत्य, जीवन का एक अंग हैनृत्य, सुकून उसे मिलता है जिसके संग है नृत्य….!!!

हर प्रकार का नृत्य बेहतरीन है अगर कुछ शर्मनाक है तो वह है शर्म के कारण नृत्य ना करना।

भाव-भंगिमाएं जब #सम्प्रेषण के माध्यम से प्रगाढ़ होते हैं विभिन्न #शैलियों में नृत्य-संगीत लोचन से अकाट्य# होते हैं

“ करते मेरे शब्द नृत्य किसी रचनाकी तलाश में मिल जाये वोपरिंदा मेरे किसी शब्दों की रचनाओं में..!!

चेहरे पर हंसी और दिल में खुशी होती हैसही मायनों में यही जिंदगी होती हैऔर हंसना किसी इबादत से कम नहींकिसी और को हंसा दो तो बंदगी होती है।

तुम जो आए हो तो शक्ल-ए-दर-ओ-दीवार है औरकितनी रंगीन मिरी शाम हुई जाती है।

“ तुम्हारा जिक्र हो और दिलउछल पड़े कहीं यहीतो नहीं परिभाषा नृत्य की….!!

हर मायूस को हंसाने काकारोबार है अपनादिलो का दर्द खरीद लेते हैंबस यही रोजगार अपना।

राधा को #कान्हा देखकर हो जाते थे विदेह कान्हा की #बांसुरी पे राधा का मनमयूर करे नृत्य

ना हमसे डरती हैं ना हमसे शर्माती हैं बात कोई भीहो वो हमसे बोल देती हैं हँसते खेलते पूरा दिन बिताती हैशाम को थकने के बाद वो तो हमें ही समझाती हैं!!!

निकाल दे अपने दिल से हर डर को,नजारे मिलेंगे नए फिर तेरी नजर को,दामन भर जाएगा सितारों से तेरा,ये दुनिया देखेगी तब तेरे उभरते हुनर को…

“ सजदा अदा न कर सकाइस बात का ग़म नहींखुशी से झूमना भी दोस्तोंखुदा की इबादत से कम नहीं…!!

मंजिल उनिको मिलती हीजिनके सपनो मैँ जान होती है,पंखो से कुछ नहीं होताहौसलों से उड़ान होती है।”

न पूजा न रानी अपना तो एक ही उसूल है.भाई हर लडकी पर तरी मारू.

शाम सूरज को ढलना सिखाती हैशमा परवाने को जलना सिखाती हैं,गिरने वालो को होती है तकलीफपर ठोकर ही इंसान को चलना सिखाती।”

“ नृत्य करना मेरे जीवनके सबसे ख़ुशी के पल रहे है..!!

“ पहला नृत्य सबसे खराब नृत्य है;अंतिम नृत्य सबसे अच्छा नृत्य है.निरंतर अभ्यास के सभी मार्ग पूर्णताकी भूमि की ओर ले जाते है…!!

ये कौन आया, रौशन हो गयी महफ़िल किसके नाम से मेरे घर में जैसे सूरज निकला है शाम से.

“ तुम्हें नाचने के लिए दो पांवनहीं मेरी जान एक दिल चाहिएजो भरा हो प्रेम से…!!

मंडप सजाने से पहले dj बुलाने से पहलेदुल्हन का मुँह दिखाने से पहलेहमारे इंतजार में कुछ स्टेज सजा लेनाजलवा देखना है हमें शादी कराने से पहले

नई अदा जलवा नया, नये हैं तेवर आज रैंप सजा ले लो मजा, फैशन का सुख आज।

ऐसा करने से लोगो को आपके संस्कारो का पता चलेगा जिस से लोगो का ध्यान आपकी और केन्द्रित होगा और श्रोते आपकी और खीचे चले आयेगे

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