2756+ Samman Shayari In Hindi | सम्मान पर शायरी

Samman Shayari In Hindi , सम्मान पर शायरी
Author: Quotes And Status Post Published at: October 3, 2023 Post Updated at: April 14, 2025

Samman Shayari In Hindi : तुम दूसरों का सम्मान करो,लोग तुम्हारा भी सम्मान करेंगे। ज्ञान आपको शक्ति देता है,लेकिन चरित्र सम्मान देता है।

हम ने मोहब्बत के नशे में, आकर उसे खुदा बना डाला, होश तब आया जब उसने कहा कि ख़ुदा किसी एक का नही होता…

सम्मान जो खोया है हमनेहमे उसको वापस लौटना है,अस्तित्व न खो दे ये अपनाहिंदी भाषा को हमें बचाना है।

आप अपने आप की जरूरत सबसे पहले है।

शेर के खामोश हो जाने सेजंगल कभी कुत्तों का नही होता .!

जैसे खिले फूल बगिया में, तुम आ खिली मेरे अंगना में, महके जैसे खुशबू फूलों की, जीवन मेरा महकाती खुशबू बिटिया की।

सर झुक जाना गलत नहीं बस अगर सभी के सामने न हो तो।

मतलब की इस दुनिया में वह पिता ही तो है, जो औलाद को बेमतलब प्यार करता है।

बेईमानी के ‘पैसों’ से इमारतें तो खड़ी हो जाती है, पर अपनी #नज़रों में ही अपनी #इज़्ज़त बैठ जाती है।

"यदि आप एक बार अपने साथी नागरिकों का भरोसा तोड़ दें, तो आप फिर कभी उनका सत्कार और सम्मान नहीं पा सकेंगे !!"

कोई दूसरा आपके साथ हो या ना हो, आप खुद हमेशा अपने साथ रहेंगे।।

उस महफ़िल में जाना छोड़ दीजिए जहाँ की तालियां आप से रूठ रखीं हैं।

सफ़र के थे हम सफ़र के ही रह गए,आधी ज़िन्दगानी तो सिर्फ सोंचनेसमझने में गुज़र गए।

लालच उस दीमक की तरह है जो आपकी आत्म-सम्मान की लकड़ी को खोखला कर देती है।

“ जब कोई पुरुष किसीस्त्री से प्यार करता हैतो अपनी थोड़ी सी ख़ुशी ही देता हैलेकिन जब कोई स्त्री प्यार करती हैतो सबकुछ न्योछावर कर देती है….!!

तुमने जो किया वो किरदार तुम्हारा है बच के रहना अब बदलने का वक़्त हमारा है

हिन्दुस्तान की शान है हिंदी,हर हिन्दुस्तानी की पहचान है हिंदी,एकता की अनुपम परंपरा है हिंदी,हर दिल का अरमान है हिंदी।

खुद पर अहंकार कर दूसरे को अपने सामने झुका देना गलत है परन्तु दूसरे के अहंकार के आगे अपने आत्मसम्मान को झुका देना भी गलत है।

“ औरत की पीड़ा औरत हीजाने ये मर्द तो हैजिस्म के दिवाने….!!

कभी कभी दिल वो भी देख लेता है जिसे आप आँखों से नहीं देख पाते

अभिमान तब आता है, जब हमें लगता है कि हमने कुछ किया है और सम्मान तब मिलता है, जब दुनिया को लगता है कि आपने कुछ किया है ।

सबसे बेहतरीन नजर वो है!!जो अपनी कमियों को भी देख सके!!क्योंकि नींद तो रोज खुलती हैं!!परंतु आंखे कभी-कभी!!

“ एक पुरुष को चाहिए किवह किसी लड़की के बारे में उतनाही गलत सोचे जितना किवह अपनी बहनके बारे में सोच सकता है…!!!

“भाई बोलने का हक़ मैंने सिर्फ दोस्तों को दिया है..! वरना दुश्मन तो आज भी हमें बाप के नाम से पहचानते हैं।”

फन कुचलने का हुनर भी सीखिए,सांप के ख़ौफ़ से जंगल नहीं छोड़ाकरते।।

पहले बनाते है गर्लफ्रेंड , फिर घूमते बाइक पर नागा की कलम है आइना , संभाल लीजिए।

दिल पर जब गहरी ठेस पहुंचती है, तब या तो इन्सान चुप हो जाता है, या फिर रो कर अपने दर्द को कम करने को कोशिश करता है!

अपने आत्म-सम्मान को बनाए रखने के लिए दूसरों के प्रति सहनशीलता का भाव रखें,एवं अपने उसूलों के प्रति कठोरता का भाव रखें।

पैसा “हैसियत”बदल सकता है,“औकात” नहीं…

गुरू बिना ज्ञान कहाँ, उसके ज्ञान का आदिन अंत यहाँ गुरू ने दी शिक्षा जहाँ, उठीशिष्टाचार की मूरत वहाँ।

दूसरों की नज़र से खुद को देखोगे तो,अपने अंदर की खूबियां दिखना कम,,और कमियां दिखना ज्यादा हो जाएँगी।

आत्म-सम्मान एक व्यक्ति के शरीर की आत्मा समान होता है,जिसकी आत्मा उसके शरीर से नक़ल जाती है,,समझ लीजिए वह अब जीवित नहीं है।

जिस दिन मर्यादा छोड़ देंगेउस दिन सबका गुरुर तोड देंगे।

कभी-कभी यह भूल जाना बेहतर है की हम क्या महसूस करते हैं, और यह याद रखना बेहतर है की हम किस चीज़ के योग्य हैं।

उठो जागो और तब तक मत रुको जब तक लक्ष्य की प्राप्ति न हो जाये !!

रिश्ते भी वही अच्छे लगते हैं,जहाँ सम्मान होता है एक दूसरे के लिए,और जहाँ सम्मान नहीं होता,वहाँ रिश्ते नहीं होते।

सम्मान और अपमान हम कह के हासिल नहीं कर सकते, हमारे कृत्य और हमारी चाल चलन ही निर्भर करता है, की समाज से पान खाने को मिलेगा या लात!

रिश्तों को चुना जाना चाहिए,न कि इसके लिए तय किया जाना चाहिए।

पहले खुद से प्यार कर लें ताकि,आप यह जान सकें कौन प्यार के लायक है।

पुण्य काज में दान को, तत्पर रहे तुरंत सर्वश्रेष्ठ उसको कहें, ज्ञानी ध्यानी संत।

दूसरों की राय बदलने की कोशिश में अपनी ऊर्जा बर्बाद मत करो,अपनी बात करो, और अगर वे इसे पसंद नहीं है तो परवाह मत करो।– टीना फे

ख़ुद की इज़्ज़त ख़ुद के हाथ होती है दूसरों के आगे हाथ फैलाने से नहीं…

जो लोग आपकी इज्जत नहीं करते हैं उनके साथ समय मत बिताओ“Never spend time with people who don’t respect you.”

पिता के लिए बेटी कभी-कभी मां,तो कभी छोटी-सी गुड़िया बन जाती है।

हम अपना Attitude तो वक्त आने पर दिखाएंगे शहर तू खरीद उस पर राज़ करके हम दिखाएंगे।

आप किसी की Respect करोगे तो वो आपको और ज्यादा Respect करेगा

गुज़रे हैं ऐसे हालात से,जहाँ आकर सभी गुज़र जाते हैं,जो अपने दर्द को ही दवा बना ले,उसपर किया गया हर वार बेअसर जाते हैं।

इसलिए आज दुनिया भर में महिलाओं को उनके योगदान की प्रसंशा करने हेतु और उन्हें सम्मानित करने के लिए अन्तर्राष्ट्रीय महिला दिवस मनाया जाता हैं।

आजकल दुनिया में वजह हो तो कद्र होती है!!वरना बेवजह कद्र कोई नहीं करता!!और बहुत कम लोग हैं!!जो बेवजह कद्र करते हैं!!

बेटियां सभी के नसीब में कहाँ होती हैं, घर खुदा को जो पसंद आ जाये, वहाँ होती हैं।

जो शक्श अपने आत्मसम्मान को बेच देता फिर उसका दर्जा समाज में छोटा हो जाता है।

वो मेरी न हुई तो ईसमेँ हैरत की कोई बात नहीँ,क्योँकि शेर 🦁से दिल लगाये बकरी🐐 की ईतनी औकात नही.?

खुशहाल जिंदगी के दो ही रस्ते, दूर से नमस्ते और चलो अपने रस्ते!

जिस शख्स के अंदर गुरुर कूट-कूट के भरा हो!!उस शक्श को सम्मना कमाने में बहुत कठिनाई आती है!!

भगवान का सबसे अमूल्य और कीमती तोहफा है पिता का प्यार।

स्वास्थ्य सबसे बड़ी दौलत है,संतोष सबसे बड़ा खजाना है,,और आत्म-विश्वास सबसे बड़ा दोस्त है।

मेरे नियम सीधे हैं हर किसी से अच्छे से बर्ताव करो. हर किसी को सम्मान दो“My rules are simple. Treat everyone fairly. Treat everyone with respect.”

भले ही आप उनसे असहमत हो पर दूसरों की राय का सम्मान करना चाहिए।

जितनी मर्जी दौलत कमा लेना, अगर इज़्ज़त नहीं कमाई तो सब बेकार है

अपने #आत्मसम्मान की रक्षा जरूर करें, पर दुसरे के “आत्मसम्मान” को कभी ठेस न पहुंचायें.

दुनिया की पहचान है औरत, हर घर की जान है औरत, बेटी, बहन, माँ और पत्नी बनकर, घर घर की शान है औरत।

पैर पर छाले बहुत थे उस गरीब के फिर भी ना जाने कैसे वो अपने दम पर खड़ा था।

जब है नारी में शक्ति सारी, तो फिर क्यों नारी को कहे बेचारी।

“थोडा बदमाश बंदा हु शरीफ न समझ लेना। सादगी का भुका हुं आशिक ना समझ लेना। कुछ जानना हो।”

एक पिता प्रकृति द्वारा प्रदान किया गया ऐसा बैंकर है जो बहुत सौभाग्य से नसीब होता है। – फ्रांसीसी नीतिवचन

वो शाख है न फूल, गर तितलियाँ न हों, वो घर भी कोई घर है, जहाँ बच्चियाँ न हों।

“राज तो हमारा हर जगह पे है। पसंद करने वालों के “दिल” में और नापसंद करने वालों के “दिमाग” में।”

लोगों की भावनाओं का सम्मान करें। आपके लिए चाहे इन सब का कुछ मतलब न हो पर उनके लिए ये सब कुछ हो सकता है

आत्म-सम्मान का सही अर्थ है किसी भी मुसीबत के आगे आत्म-समर्पण न करना।

“मशहूर होने का शोक नहीं है लेकिन क्या करे लोग नाम से ही पहचान लेते है।”

“ किसी को अपनी बेज्जती नकरने दीजिए स्वयंअपने आप को भी नहीं…!!!

किसी को समझने में तो किसी को समझाने में दिक्कत कुछ अकल के अंधे मिल गए थे बड़ी खूबसूरत है ये ज़िन्दगी बस बीच में कुछ लोग गंदे मिल गए थे

“ कोई भी देश सफलता के शिखरपर तब तक नहीं पहुंच सकता जबतक कि उस देश की महिलाएं कंधेसे कंधे मिलाकर न चलें…!!!

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