Program Ending Shayari In Hindi : मुद्दत से आता हर दिनज़िन्दगी में नई उम्मीद जागेआज का दिन बख्शे खुशियां आपकोनेक कामोंसे सबके नसीब जागे। शब्दों का वजन तो हमारे बोलने के भाव से पता चलता हैं,वैसे तो, दीवारों पर भी “वेलकम” लिखा होता हैं।
पूजा हो मंदिर में तो थाली भी चाहिए,गुलशन है गुल का तो माली भी चाहिए है,दिल है दिलवाला तो दिलवाली भी चाहिए,कार्यक्रम है हमारा तो आपकी ताली भी चाहिए।
यूं तो कई लोग आते हैं और चले जाते हैं,मगर कुछ ही यादों में जगह बना पाते हैं,गुरु, दोस्त और सीनियर आप थे यहां,न जाने क्यों अच्छे लोग बिछड़ जाते हैं।
ये माना की जिंदगी की राह आसान नहींपर मुस्कुराकर चलने में कोई नुकसान नहीं।
आप जैसे सीनियर किस्मत से मिलते हैं जैसे पतझड़ में मानो फूल खिलते हैं चले जाओगे हम को अकेला छोड़कर हमेशा आप खुश रहो यही शब्द निकलते हैं।
भले ही हम कितनी भी तरक्की कर लें याद रहेंगे ये जिंदगी के पहले दोस्त और पहले साथी
काम ऐसे करों जैसे कि तुम्हें पैसे# की जरूरत ही न हो. प्रेम ऐसे करो जैसे आपको कभी #चोट नहीं लगी. डांस ऐसे करो जैसे कोई #तुम्हे देख ही नहीं रहा है.
गूंज उठता हैं जहां में चारो ओर….. लोगो की जुबान से वन्दे मातरम का नारा
काँटों में भूल खिलाएं, इस धरती को स्वर्ग बनायें, आओ सबको गले लगायें हम गणतंत्र का पर्व मनाएं।
लोग तो कहते ही रहेंगे,वरना हम ज़िंदा कैसे रहेंगे..Log toh kahte hi rahenge,Warna hum zinda kaise rahenge..
अपनी कद्रदानी को,इस तरह ना छिपाइए,अगर प्रस्तुति पसंद आई हो,तो तालियाँ बजाइये।
और बीच-बीच में इन सारे चुटकुलों का इन सारी कविताओं का इन सारी शायरियों का इस्तेमाल करके आप अपनी एक बढ़िया कॉमेडी एंकरिंग स्क्रिप्ट बना सकते हैं।
जब मै कहने गया था.दिल से दिल की बाते.तो हडबड़ा कर.गिर गया था कीचड़ पर साले.वो मुझे देख कर.पहचान नहीं पाई.उसने कोई पागल समझ कर.मेरी कर दी कुटाई.
मुहोब्बत Ka एक हसीं अहसास हूँ में,हर पल Me घुल जून कुछ एसा खास हूँ में…पूरी उम्र जपो यद् रहे आपको,इस शाम का वो हसीं आगाज़ हूँ Me।।
ये नन्हे फूल तब महकते है जब खुदा की नीली छत्रिया तनती है इस नन्हे मुन्हे फरिश्तो के लिए जोरदार तालियाँ तो बनती है।
यूँ ही सदा खुश रहें,यूँ ही आप मुस्कुराती रहें,ईश्वर करें ये शादी आपकीजीवन में खुशियां बरसाती रहें।
कोई भी #परवाह नहीं करता है अगर आप अच्छी तरह से #नृत्य नहीं कर सकते है. सिर्फ उठो और नृत्य# करो. महान नर्तक अपने #जूनून के कारण महान है.
एंकर मेल- एक बार जोरदार तालियाँ इस उत्कृष्ट प्रस्तुति के लिये।
मैं चार पंक्तियाँ उन महान शहीदों और आज़ादी के मतवालों के नाम समर्पित करना चाहता हूँ कि
कार्यक्रम में खुशियों का महोत्सव Ho जाएगा,समंदर में लहरों का महोत्सव Ho जाएगा,शोभा आपकी और हमारी Do दूनी चार होगी,जब आपकी तालियों का महोत्सव Ho जाएगा…
“दिलों में विश्वास पैदा करता है,मन में कुछ आस पैदा करता है,मिटटी की तो कुछ बात ही अलग है,ईश्वर तो पत्थरों में भी घास पैदा करता है…”
खूबियाँ इतनी तो नही हम में कि तुम्हे कभी याद आएँगेपर इतना तो ऐतबार है हमे खुद परआप हमे कभी भूल नही पाएँगे।
चक्के पे चक्का चक्के पे गाड़ीआप ही वो प्यारे सीनियर हो जिसने हमारी जिंदगी बिगाड़ी
कुछ बयां कर देता हूंकुछ छूपा लेता हूंमै अपनी मुस्कान से हीखूद को मना लेता हूं
हस्ते हुए रो देता हु मैंजब स्कूल की मस्ती याद आती हैंक्या जबरदस्त दिन थे वोजब ज़िम्मेदारिया नहीं सिर्फ मस्ती थी
कुछ चेहरे यु ही नहीं मुस्कुराया करतेरंग बस्ती वो यु ही नहीं उड़ाया करतेबड़ी ज़िम्मेदारियाँ है सारा जहां महकानाकुछ फूल दुनिया में यु ही नहीं आया करती है।
करेंसी के लिए पावंड का ,क्रिकेट के लिए ग्राउंड का।,और कार्यक्रम के लिए तालियों के साउंड काहोना बहुत जरुरी है।
कॉलेज के दिनो मे सबसे ज्यादाखाई जाने वाली चीज–तानसेन
जीत की खातिर बस जुनून चाहिए,जिसमें उबाल हो एसा खून चाहिए |यह आसमां भी आएगा ज़मी पर,बस इरादों में जीत कि गुंज चाहिए ||
मैं मुल्क की हिफाजत करूँगा ये मुल्क मेरी जान है इसकी रक्षा के लिए मेरा दिल और जां कुर्बान है वन्दे मातरम, जय हिन्द
मीठी बात और चेहरे पर मुस्कान,ऐसे लोग ही है हमारी महफ़िल के शान।
ज़िंदगी का सौक कभी पाला नहीं जाताशीशे का प्याला कभी उछाला नहीं जातामेहनत से सबर जाती है ज़िंदगीहर काम तक़दीर पर डाला नहीं जाता।
समुन्दर न हो तो कश्ती किस काम कीमजाक न हो तो मस्ती किस काम कीदोस्तों के लिए कुर्बान है ये जिंदगी,अगर दोस्त न हो तो फिर ये जिंदगी किस काम की
खबर न होती कुछ सुबह कीना कोई शाम का ठिकाना थाथक हार के आना स्कूल सेफिर भी खेलने तो जरुर जाना था
तब तिरछी नजरों से उन्होंने हमको देखा, तो हम मदहोश हो गए जब पता लगा उनकी नज़रे ही तिरछी है तो हम बेहोश हो गए।
उड़ जाय उसे छक्का कहते हैंजो भीड़ में लग जाय उसे धक्का कहते हैकलाकार ने बता दिया हमकोक्यों उसे मंच का इक्का कहते हैं।
गीत ख़ुशी के गाते रहो जीवन खुश हो कर नृत्य स्वयं करने लगेगा
ना जाने कुछ लोग कब अपने बन जाते हैयूं ही चलते फिरते दिल में बस जाते हैएक पल में ना जाने क्यों छोड़ कर चले जाते है।
चांदनी रात पर चाँद का अहसान होदिन के उजाले पर सूरज का अहसान हो ,अहसान किया जो आप इस दर पर आयेहमपर आपकी रहनुमा की अहसान हैं।
”विदाई तो है दस्तूर जमाने का पुराना, पर जहां भी जाना अपनी छाप कुछ ऐसे छोड़ जाना कि हर कोई गुनगुनाए तुम्हारा ही तराना।”
जैसे पूनम की रात रौशन होती हैवैसे आस आज हर दिल में जगी हैसलामत रहे आपका ये उज्जवल व्यक्तित्व ,आपके आगमन से इस आंगन की सांन बढ़ी है।
उसे जाने की जल्दी थी सो मैं आँखों ही आँखों मेंजहाँ तक छोड़ सकता था वहाँ तक छोड़ आया हूँ।
विदा होकर आज ही यहां से चलीजाओगे पर आशा है कि जहां भीजाओगे खुशियां ही पाओगे
चलता रहूँगा मंजिल की और, चलने में माहिर बन जाऊंगा या तो मंजिल मिल जाएगी या अच्छा मुसाफिर बन जाऊंगा||
दिन निकला Har दिन जैसापर आज Ka दिन कुछ ख़ास होअपने लिए तो जीते Hai रोजआज सबके भले Ki अरदास हो।
ना मरो सनम बेवफा के लिए, दो गज़ जमीन नहीं मिलेगी दफ़न होने के लिए, मरना हैं तो मरो वतन के लिए, हसीना भी दुप्पट्टा उतार देगी तेरे कफ़न के लिए
जीत की खातिर बस जुनून चाहिए, जिसमें उबाल हो एसा खून चाहिए| यह आसमां भी आएगा ज़मी पर, बस इरादों में जीत कि गुंज चाहिए||
“देखा है तेरे आगे, सरमा कर फूलों को मुरझाते, ए पूरी दुनिया को घायल करने वाले, तुम क्यों नहीं रोज नहाते!!”
ना सरकार मेरी है, ना रौब मेरा है, ना बड़ा सा नाम मेरा है, मुझे तो एक छोटी सी बात का गर्व है, मैं “हिन्दुस्तान” का हूँ और “हिन्दुस्तान” मेरा है।
आज मिलेंगे, कल मिलेंगेविदा हो जाओगे आज आपना जाने फिर कब मिलेंगे।
एक Joke जो सदियों से Student बोलते आ रहे हैंऔर आगे भी बोलेंगे: Next Semester में पूरी जान लगा दूँगा
किसी भी कॉलेज का annual function तब successful होता है जब उसका टीचिंग स्टाफ और नॉन टीचिंग स्टाफ स्टूडेंट टीचर सभी मिलकर मैनेज करते हैं.
अलविदा हमेशा के लिए नहीं हैं, अंत नहीं हैं। इसका सीधा सा मतलब है कि मैं तुम्हें तब तक याद करूंगा जब तक हम दोबारा नहीं मिलेंगे..
आज यहां से विदा हो कर चले जाओगे,पर आशा है यही है कि जहां भी जाओगे, खुशियां ही खुशियां पाओगे।
आपकी विदाई की इस बेला में, कहता हूं सच, रह जाऊंगा अकेला मैं, फिर भी दुख-सुख में हूं आपके साथ, आप रहो जहां वहां मिले नई सौगात।
लड़कियों की अदा हमे पसंद नहींलड़कियों की बाते हमे पसंद नहींये तो दोस्तों के ज़िद है वार्नाहमे लड़कियां पटाना पसंद नहीं।
कोई पेशेवर कलाकार नही हैं, फिर भी समर्पित कितने हैं। इनके लिये खूब तालियाँ बजाइये, क्योंकि ये तो हमारे अपने हैं।
नफरत बुरी है ना पालो इसे, दिलों में खलिश है निकालो इसे, न तेरा, न मेरा, न इसका न उसका, ये सबका वतन है संभालो इसे।
देर लगी आने में तुम को शुक्र है फिर भी आए तो आस ने दिल का साथ न छोड़ा वैसे हम घबराए तो
विदाई की घड़ी है आई सबके आँखोंमें आँसू है लाई,आपकी पूरी हो हरअभिलाषा दुआ ये सबके जुबान परहै आई.
जब तुम जाते हो, तो गुलिस्तां के सभी फूल झड़ जाते हैं, संभलकर कहो अलविदा जाते-जाते पेड़ों से क्यों टकरा जाते हो।
चम् चम करती चांदनीटीम टीम करते तारेताली कोई नहीं बजा रहेसोक सभा में आये क्या सारे।
हमसे दूर नहीं जा रहे हैं आप हमारे दिल के पास आ रहे हैं आप जहाँ में जहाँ भी रहे, मुस्कुराते और खिलखिलाते रहे.
दिल दुखाना हमारी आदत नहीं,दिल हम किसी का कभी तोड़ते नहींबड़े आसानी से कर लेते हैं हम हर किसी पे भरोसा,क्योकि धोखा देना हमें स्कूल में सिखाया नहीं
गुजरता हुआ वक्त गुजर जाएगाअगर कुछ पास रह जाएगाजो वर्षो वाद भी याद रह जाएगा तो वह होगाइस हसीन दिन का कोई रौशन सा लम्हा।
” इक शुरुआत सी खुशनुमा हो गई, मिल के चलने की रुत सी यहां हो गई
ठीक नहीं कहना मेरा सबसे यह हर बार,करतल ध्वनि हो जाये तो हो जाये उपकार,बिना कहे बजती रहें हर प्रस्तुति के बाद,तड़-तड़ वाली तालियाँ तब है कोई बात।
साथ ही इन्हें सोशल मीडिया पर शेयर करना ना भूलें।
देशभक्तों से ही देश की शान है देशभक्तों से ही देश का मान है हम उस देश के फूल हैं यारों जिस देश का नाम हिंदुस्तान है
तुम आ गए हो तो कुछ चाँदनी सी बातें होंज़मीं पे चाँद कहाँ रोज़ रोज़ उतरता है।
वो कॉलेज के दिनकुछ बातें भूली हुईकुछ पल बीते हुएहर गलती का एक बहानाऔर फिर सबकी नज़रों में आना
मिलते हो बहुत लोग है ज़िन्दगी की राहों में, मगर हर किसी में आप जैसी बात नहीं होती।
साथियों, इक तड़प, इक सिहरन, इक हूक सी दिल में उठती है जब हम उन गुलामी के दिनों के बारे में पढ़ते हैं।