1403+ Khet Ki Shayari In Hindi | Kheti Shayari Status Quotes in Hindi

Khet Ki Shayari In Hindi , Kheti Shayari Status Quotes in Hindi
Author: Quotes And Status Post Published at: August 31, 2023 Post Updated at: February 8, 2025

Khet Ki Shayari In Hindi : खेतों में जो पसीना बहाता है, उसका दर्द कोई और कहाँ समझ पाता है. जिनके माँ-बाप खेतों में काम करते है, उनके बच्चे जीवन में बड़ा नाम करते है।

“ ख़ोल चेहरों पेचढ़ाने नहीं आते हमकोगांव के लोग हैंहम शहर में कम आते हैं…!!

उन घरो में जहाँ मिट्टी के घड़े रहते हैं, कद में छोटे हो, मगर लोग बड़े रहते हैं.

ज़मीर-ए-लाला मय-ए-लाल से हुआ लबरेज़ इशारा पाते ही सूफ़ी ने तोड़ दी परहेज़

“ गाँव की प्यारी यादोंको दिल में सजाया करो,शहर में तरक्की कितनी भी करो लोपर गाँव अपनों से मिलने आया करो….!!

जुर्म ये है कि बारिशों से इश्क़ किया, सजा ये है कि बंजर जमीन हूँ अब।

कन्हैया बस तेरी रहमत पर नाज करते है,इन आंखो को जब तेरा दीदार हो जाता है,मेरा तो हर दिन सांवरे त्योहार हो जाता है।

मर# रहा सीमा पर जवान और खेतों में #किसान,

मत मारो गोलियो से मुझेमैं पहले से एक दुखी इंसान हूँ,मेरी मौत कि वजह यही हैंकि मैं पेशे से एक किसान हूँ.

खूब हौंसला बढाया आँधियों ने धुल का,मगर दो बूंद बारिश ने औकात बता दी !!

जब मोहब्बत हाथ छोड़ देती है, तब दोस्त ही कदम से कदम मिलाकर चलते हैं।

“आकाश प्यार से पृथ्वी और उसके बच्चों पर मुस्कुराता है।”

यूँ तो सय्यद भी हो मिर्ज़ा भी हो अफ़्ग़ान भी हो तुम सभी कुछ हो बताओ मुसलमान भी हो

तने फूक भरके लिफाफे पांडे स कालजा कुकर पाडिया करें हम बतावागे ।

खेतों# को जब पानी की जरूरत होती है,तो आसमान# बरसता है या तो आँखें।

तुम हमारे साथ भीगने का वादा करो,बारिश हम खुद करेंगे !!

DIL म भोला अर दिमाक म रोलाअसली जाट की पहचान होया करें..!

“दुनिया में सुंदरता को देखते हुए, मन को शुद्ध करने का पहला कदम है।”

तुम मेरे साथ भीगने का वादा करो,मोहब्बत की बारिश हम करा देंगे !!

वो जाट ही क्या, जिसकी जिदंगी मे ठाठ नही,और डूब के मरज्या वा छोरी, जिसकी जिदंगी में जाट नही..!!

हर तलवार पे जाट की कहानी है, तभी तो दुनिया जाट की दीवानी है, मिट गए जाट को मिटाने वाले क्योंकि दहकती आग मैं तपी जाट की जवानी है।

किसानो से अब कहाँ वो मुलाकात करते हैं, बस ऱोज नये ख्वाबो की बात करते हैं.

वो तेज़ बारिश थी,और मैं मिट्टी से बना इन्सान,जो बह गया !!

एके-47 की गन से भी कोई फर्क नापड़े इस जाटों के लड़के को..|

अपनी जिंदगी खेतों में गुजार दिए!गुजार दिए जिंदगी ही सवार दिए !सवार दिए अपनी लाश को अपने खेत में बिछा दिए!बिछा दिए अपने ही खेतों में जला दिए।...

ए दोस्त तेरी दोस्ती पर हम फक्र करते है, तू सलामत रहे इस जहां में यही दुआ हम रब से करते है।

छत टपकती है उसके कच्चे घर की,वो किसान फिर भी बारिश की दुआ करता है !!

उरूज-ए-आदम-ए-ख़ाकी से अंजुम सहमे जाते हैं कि ये टूटा हुआ तारा मह-ए-कामिल न बन जाए

आज बारिश आई तो याद आया वो ज़माना,तेरा छज्जे पर रहना और मेरा सड़क पर नहाना !!

“किसी इंसान पर हंसने से बेहतर है किसी के साथ मिलकर हंसे,क्योंकि जीवन में छोटी-छोटी खुशियां ही तो है जो हमारे जीने का सहारा बनती है – सुप्रभात”

मैं किसान हूं भारत देश का इस पर मुझे गर्व हैकुछ हमारे बारे में भी सोचो हमें बहुत दर्द है#Kisan

वक्त से लड़कर जो नसीब बदल दे !!इंसान वही जो अपनी तकदीर बदल दे !!कल क्या होगा कभी मत सोचो !!क्या पता कल वक्त खुद अपनी तस्वीर बदल दे !!

बिना चौकी सब्जी और बिनाएटीट्यूड वाली लड़की पसंद नहीं आती इस जाट को..

बेगानों से गुजर जाते है कोई बात नहीं होती हम उनसे रोज मिलते हैं मगर मुलाक़ात नहीं होती

February में जो होगी वो बारिश हो तुम,मेरे प्यार के एक लौटे वारिश हो तुम !!barish hindi quotes

सरसों की खेती पर शायरीखुदा अब किसानों को आजमाना छोड़ देचिलचिलाती धूप में फसलों को जलाना छोड़ दे

कुछ मजबूरियां होती है दोस्तवरना कौन अपना गाँव छोड़ना चाहता है।

​​”पानी प्रकृति में प्रेरक शक्ति है।”

उसका घर कच्चा है पर फिर भी वो किसान बारिश का इंतज़ार बेसब्री से कर रहा है।

जो कर्ज से जूझते हैं, वो बहुत ही महत्वपूर्ण काम करते हैं। उन्हें हमेशा सम्मान देना चाहिए। 💰👨‍🌾

मुझे बारिश में चलना पसंद है,ताकि कोई मेरे आँसूं न देख सके !!

जिओ का टावर औरछोरी का पावरजहां देखो फुल ही रहता है।

यशोदा के दुलारे राधिका का प्यार हैं मोहनहमारे साथ खेलें जो हमारे यार हैं मोहन

हया नहीं है ज़माने की आँख में बाक़ी ख़ुदा करे कि जवानी तिरी रहे बे-दाग़

इश्क़ भी हो हिजाब में हुस्न भी हो हिजाब में या तो ख़ुद आश्कार हो या मुझे आश्कार कर

“प्रकृति एक निर्वात का पालन करती है, और अगर मैं केवल पर्याप्त लापरवाही के साथ चल सकता हूं तो मुझे भरा जाना सुनिश्चित है।”

पैसों को बर्बाद करके हमने शौक पाले हैं कोई पूछेतो बोल देना जाट वाले बंदे यूं ही मौज करते हैं

जिंदगी के हर मोड़ पर ये बात याद रखना।किसानों के तुम कर्जदार हो,उस एहसान को उतारने की सोचना।

दीवार क्या गिरी किसान के कच्चे मकान की,नेताओ ने उसके आँगन में रस्ता बन दिया.

थे धुप से परेशान और अब तकलीफ है बारिश से,शिकायतें बेशुमार है इन्सान की आदत में !!

खेती उसी का जवाब होती है जो उसे करता है। 🌾💪

प्यार में कैसी थकन कह के ये घर से निकलीकृष्ण की खोज में वृषभानु-लली मीलों तक

घटाएँ उठती हैंबरसात होने लगती है,जब आँख भर के फ़लकको किसान देखता है

कभी हम से कभी ग़ैरों से शनासाई है बात कहने की नहीं तू भी तो हरजाई है

“सर्दी आराम के लिए, अच्छे भोजन और गर्मजोशी के लिए, दोस्ताना हाथ के स्पर्श के लिए और आग के बगल में बातचीत के लिए समय है: यह घर के लिए समय है।”

किसान की आह जो दिल से निकाली जाएगी क्या समझते हो कि ख़ाली जाएगी.

“मनुष्य ने प्रदर्शित किया है कि वह हर चीज का स्वामी है – अपने स्वभाव को छोड़कर।”

लोग बुराइयां करते हैंतो करने दो यारवह अपनी औकात दिखाएंगेलेकिन तुम अपनेएटीट्यूड में मस्त रहो।

बारिश की आवारगी ने हर रुत ही बदल डाली,जिन्हें मुश्किल से भूले थे वो फिर याद आने लगे !!

खेत में जब सूरज ढलता है, तब हमारी मेहनत शुरू होती है।

“ मेरे खेत की मिट्टीसे पलता है तेरे शहर का पेटमेरा नादान गाँव अबभी उलझा है कर्ज की किश्तों में…!!

घर अधूरा खाट बिना तराजू अधूरा बाट बिना राजा अधूरा ठाठ बिना देश अधूरा जाट बिना।

अजीब# कहानी है ये किसान की ज़िन्दगी की वो पूरे #देश को खिला रहा है पर उसके खुद के पास खाने को दो #वक़्त की रोटी नहीं है।

हलकी सी बारिश, मस्त हवा और उसकी याद,सितम्बर तु तो दिसम्बर से भी जालिम निकला !!fb status barish

खेत पर शायरीमैं झूठ की खेती कभी नहीं करताचाहे पेट भूखा ही रह जाएँऔर ईश्वर भी भूखा नहीं रखताचाहे कोई रूठा ही रह जाएँ

थमती नहीं जिंदगी कभी किसी के बिना ,लेकिन ये गुजरती भी नहीं अपनों के बिना….!!❤🌹🎉

सितारा क्या मिरी तक़दीर की ख़बर देगा वो ख़ुद फ़राख़ी-ए-अफ़्लाक में है ख़्वार ओ ज़ुबूँ

“ जहाँ सीधे-सादे लोगो का है डेरा,खुशहाली से भरा वो गाँव है मेरा….!!

टपकती है छत जिसके घर कीवो किसान फिर भी बारिश की दुआ मांगता है।

प्रेम से कृष्णा का नाम जपोदिल की हर इच्छा पूरी होगीकृष्ण आराधना में इतना लीन हो जाओउनकी महिमा, जीवन खुशहाल कर देगी

एक ईमानदार किसान को डरे सहमे हुए देखा है,मेहनत करने के बावजूद भूख से लड़ते हुए देखा है,

आहार की उपलब्धता: खेती खाद्य संसाधनों की उपलब्धता में सुधार करती है और लोगों को पौष्टिक आहार प्रदान करती है।

‘“ की निम का पेड़ था बारिश थी और झूला था गाँव में गुजरा हुआ मेरा बचपन भी का बचपन था…!!

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