Corona Shayari In Hindi : नासिर काज़मी, एतबार साजिद और नूर जहां सर्वत का भी तो यही दुख है चहकते बोलते शहरों को क्या हुआ नासिरकि दिन को भी मिरे घर में वही उदासी है
कोरोना बोले हाथ मिलाना छोड़ो दूर से करो हाय हाय वरना जिंदगी से प्यारे तुम्हारा कर दूंगा बाय बाय.
क्या चाहता है तू कोरोनाकि हम तुझे लाएं अपने घरहम बाहर निकलेंगे ही नहींतो तू कैसे आएगा हमारे घर
मिल बैठ के वो हंसना वो रोना चला गयाअब तो कोई ये कह दे करोना चला गया
बोझ उठाते हुए फिरती है हमारा अब तकऐ ज़मीं मां तेरी यह उम्र तो आराम की थी
आंखों में उड़ रही है लुटी महफ़िलों की धूलइबरत सराए दहर है और हम हैं दोस्तो
हर तरफ प्रदूषण बढ़ रहा है. आज लोग अस्पताल में ऑक्सीजन की कमी की वजह से मर रहे हैं. अपनी जिंदगी के लिए भीख मांग रहे हैं.
अपनी बीबी चाँदी और दुसरे की बीबी सोना,अपनी खांसी, खाँसी और दुसरे की खांसी कोरोना।
कोरोना के बेशुमार प्यार से देश-देश परेशान, ढूँढ रहे कोरोना जी को ठिकाने लगाने का समाधान।
कौन तन्हाई का एहसास दिलाता है मुझेयह भरा शहर भी तन्हा नज़र आता है मुझे
दिल में कोरोना ये कैसा दर्द दे गया, जो अपने थे वो उन्हें साथ ले गया। अब कैसे कटेगें उनके बिना दिन रात हमारे, ये कैसा दर्द हमें कोरोना दे गया।
समय-समय की बात है, कभी घर पर रहने वाले को निकम्मा कहा जाता था और आज समझदार।
जब से कोरोना हमारे देश आया हैसबका सुख चैन हराम करवाया हैतुझ को तगड़ा सबक सिखाएंगेतुझे तेरे ही देश वापस भगाएंगे
यह एक ऐसा वायरस आया हैजिसने जीने के लिए इंसान कोसोशल डिस्टेंस का सबक सिखाया है
कोरोना कहता है कि इश्क़ मुझसे करोसिर्फ छूने से ही मैं तुम्हारा हो जाऊंगा
या मुनीर नियाज़ी का यह इन्फिरादी दुख इज्तिमाइयत इख़्तियार कर लेगा
सब को मालूम है बाहर की हवा है कातिल यूँही कातिल से उलझने की जरुरत क्या है
कोरोना बोले हाथ मिलाना छोड़ो, दूर से करो हाय हाय। वरना जिंदगी से प्यारे तुम्हारा कर दूंगा बाय बाय।।
सहमी है शाम जागी हुई रात इन दिनोंकितने खराब हो गये हालत इन दिनों।
घर के अंदर ही रहनाबाहर को नही है जानाक्योंकि कोरोना से है हमें बचना
कोरोना जी ने छीन लिया लड़कियों का नूर। मेकअप को छोड़, मुंह ढकने को मजबूर।।
खाली सड़के देखकर, मन में उठा सवाल है। जो सड़को पर ही बसते थे, उन लोगो का क्या हाल है।
चाइना का माल खूब चला नाम है कोरोना। बस इसे देख चाइना को ही आया ज्यादा रोना।।
हम को दूरी बनाये रखनी है, अपनी दुनिया सजाये रखनी है, कैद में रखिये खुद को थोड़े दिन जिन्दगी है, बचाए रखनी है. सुनील जोगी
अब अमीर का हर दिन रविवार हो गया, और गरीब है अपने सोमवार के इंतजार में, अब अमीर का हर दिन से परिवार हो गया है, और गरीब है अपने रोजगार के इंतजार में
अब नहीं बात कोई ख़तरे कीअब सभी को सभी से ख़तरा है
बड़े दौर गुजारे जिंदगी के, ये दौर भी गुजर जायेगा, थाम लो अपने पांवो को घरों में, कोरोना भी थम जाएगा।
हाल पूछा न करे हाथ मिलाया न करेमैं इसी धूप में खुश हूं कोई साया न करे
कोरोना जी ने छीन लिया, लड़कियों का नूर, मेकअप को छोड़ मुंह ढंकने को मजबूर।
ख़ुद को लॉक करने में है भलाई हमारीकोरोना से दूरी बनानी में ही है समझदारी
कैसा समय आया की दूरियां ही दवा बन गयी
जैसे हर चमकती चीज सोना नहीं होती, वैसे ही हर छींक कोरोना नहीं होती।
ज़िन्दगी एक नेमत है उसे संभाल के रखो कब्रगाहों को सजाने की जरुरत क्या है
एक ही शहर में रहना है मगर मिलना नहींदेखते हैं ये अज़ीय्यत भी गवारा करके
हर चमकती चीज सोना नहीं होती है,हर इंसान की खांसी कोरोना नहीं होती है.
क्योंकि पीछे पड़ गया एक अत्यंत बौना भयानक बाहुबली नन्हा मुन्ना कोरोना
जीवन में आप कितने भी पॉजिटिव हो, वर्तमान में आपकी रिपोर्ट नेगिटिव आना बहुत जरूरी है।
कुछ ही दिनों की बात है, चलो घर में रहकर देश भक्ति निभाते है, सब एक जुट होकर हिंदुस्तान से, कोरोना को भगाते है।
हर तरफ फैली ये लाइलाज बीमारी है, कोरोना वायरस को घोषित करो कि ये महामारी है.#Coronavirus
कोरोना बोले ना किसी से हाथ मिलाओना किसी को गले लगाओमेंटेन करके सोशल डिस्टेंसकोरोना को दूर भगाओ
ना दिखने वाली बीमारी है येनाम कोरोना बतलाती हैछूने से अक्सर इंसान को हो जाती हैछींक मारने से भी ये फैल जाती है
भारत को सूचित किया, देखो कोरोना वायरस आया है। जनता ने मज़ाक समझा, देखो ये कैसा झूठ फैलाया है।
कोरोना को रोकने में सरकार का साथ दीजिये, इस बीमरी की शंका होने पर टोल फ्री नंबर पर बात कीजिये.
अपने जीवन से ना खेलेंबार बार हाथ को धोएंकोरोना को दूर भगाएं
हार हो जाती है जब मान लिया जाता है जीत तब होती है जब ठान लिया जाता है
जब से चीन से आया है कोरोना, वो कहती है हर बात पर मुझसे दूर रहो मेरे शोना, घर रह कर पास भी नहीं आने देती है, इसका है मुझको रोना।
दिल बहलाने के लिए घर में वजह है काफी यूँही गलियों में भटकने की जरुरत क्या है
समय समय की बात है कभी घर पर पड़े रहने वाले को “निकमा” कहा जाता था और आज समझदार
व्वाह अशोकजी 👌👌 बढीया पेशकष 👌👌 और शायर ने भी क्या अनोखे विषय का चयन किया है, व्वाह 👌👌👌👌
बिछ गई है जगह-जगह लाशें, अब नहीं रहा दिलों में सब्र, ना जाने कब बिछेगी, इस कोरोना की कब्र।
कोरोना वायरस से होती है नफरत, एक बार हो जाए तो फैलती ही जाती है.
कोरोना वायरस से तो सिर्फ एक बार मरोगे, लेकिन प्यार हो गया तो, रोज तड़प-तड़प कर मरोगे।
ये #Corona तो चंद दिनों का है,इश्क़ तो सदियों से लाइलाज है.
थोड़ी सी सावधानी कर लो, ना करो दइया दइया वरना फिर करते रह जाओगे हाये मइया मइया
बन्द करो कोरोना का यह रोनाइससे लड़ो और हमेशा स्वास्थ्य रहो
क्यों डरते हो इस वायरस सेयह डरने वाले को और डराता हैइसे तुम डराओ और जहां से आया हैइसे दोबारा वहीं भगाओ
घर से निकले अब, न मिले किसी अंजान से। फिर भी भारत वासी जाते है सड़को पर बिना काम से।
चहकते बोलते शहरों को क्या हुआ नासिरकि दिन को भी मिरे घर में वही उदासी है
थकना भी लाज़मी था कुछ काम करते-करतेकुछ और थक गया हूं आराम करते-करते
आंख भर देख लो ये वीरानाआजकल में ये शहर होता है
कुछ लम्हों की लापरवाही में, जिंदगीभर का रोना हो गया, सोचते रहे वो प्यार का बुखार और ग़ालिब को कोरोना हो गया।।
घबराता तो यहां हर एक परिंदा है, लेकिन जो घर में रह सका वहीं जिंदा है।
कैसा मेरे देश का ये रस हो गया करुणा कल तक प्यार था आज वायरस हो गया
मुद्दत से आरज़ू थी के फुर्सत मिले, मिली तो इस शर्त पर के किसी से ना मिले।
घर में ख़ुद को क़ैद तो मैंने आज किया हैतब भी तन्हा था जब महफिल-महफिल था मैं
घंटों तक निहारते थे उन्हें, आँखों में आंखें डालकर, अब तो जरा सा छींक भी दे तो, दिल सहम उठता है।
कोरोना बुलाता है मगर जाने का नहींखुद को संभालो, हाथ नाक को छूने का नहीं
खाया, पिया चीन ने और हाथ सारा विश्व धो रहा है
अब तो घर रेलवे की बोगी जैसा लगने लगा है, टॉयलेट जाओ और वापस आकर अपनी सीट पर बैठो।
रख भरोसा भगवान पर, छोड़ पुराने नुक्से। बुहान के पास कहा है वैक्सीने, फिर भी कहा सुनने को मिल रहे अब नए किस्से।
जीवो पर दया करो और प्रकृति से प्यार, वरना हर कोई होगा कोरोना वायरस का शिकार.
बंद हुआ दुनिया का सुख चैन से सोना, और शुरू हुआ है जोर-जोर से रोना, क्योंकि पीछे पड़ गया है एक अत्यंत बौना, भयानक बाहुबली नन्हा मुन्ना कोरोना।
रास्ते हैं खुले हुए सारेफिर भी ये ज़िंदगी रुकी हुई है