1078+ Berukhi Shayari In Hindi | बेरुखी शायरी

Berukhi Shayari In Hindi , बेरुखी शायरी
Author: Quotes And Status Post Published at: October 2, 2023 Post Updated at: October 31, 2023

Berukhi Shayari In Hindi : आदत हमारी कुछ इस तरह हो गई, उनकी बेरूखी से भी मुहब्बत हो गई. बहुत दर्द होता है जब आपको वो इंसान इग्नोर करें, जिसके लिए आप पूरी दुनिया को इग्नोर करते हैं.

दोस्त होकर भी महीनों नहीं मिलता मुझसे उस से कहना कि कभी ज़ख्म लगाने आये।

जख्म तो कई दिए जिंदगी ने मुझे लेकिन उतना दर्द ना हुआ जितना दर्द तेरी बेरुखी ने दिया।

कभी तो साथ बैठो, ज़िन्दगी रिलैक्स हो जाये.!!क्यों ना एक कप चाय और कुछ स्नैक्स हो जाये.!!

हमें लगा आपको मोहब्बत है हमारी बातों से !!पर आपकी चाह हमारी बेरुखी थी !!

जिस तरह शेर अकेला जंगल में रहता हुआ पल-पल दौड़ता रहता है जैसा अपना मन वैसा ही औरों का भी इसी तरह मन रूपी शेर अपने शरीर में रहते हुए भी घूमता फिरता है ।

दोस्ती नाम है सुख-दुःख की कहानी का, दोस्ती राज है सदा ही मुस्कुराने का, ये कोई पल भर की जान-पहचान नहीं है, दोस्ती वादा है उम्र भर साथ निभाने का।

हमारी बेरुखी अब इस कदर बढ़ गई है.!!तुमसे बात तो मुमकिन है.!!पर हम कोशिश नहीं करना चाहते.!!

रिश्तों में इतनी बेरुख़ी भी अच्छी नहीं हुज़ूर.!!देखना कहीं मनाने वाला ही ना रूठ जाए तुमसे.!!

सांस लेने से तेरी याद आती है, सांस नहीं लेता तो जान भी जाती है, कह दू कैसे की इस सांस से जिंदा हूं मै, ये सांस भी तो तेरी याद के बाद ही आती है.

सालभर….तेरी बेरूखी से कत्ल होते रहे हैं हम,अब तो तहरीरें बन गई है…उदासियाँ गुजरे साल की।

कबीरदास जी कहते हैं कि पतिव्रता स्त्री चाहे मैली-कुचैली और कुरूपा हो लेकिन पतिव्रता स्त्री की इस एकमात्र विशेषता पर समस्त सुंदरताएँ न्योछावर हैं ।

“हम सभी का जन्म प्यार के लिये ही हुआ है।”Ham Sabhi Ka Janm Pyar Ke Liye Hi Hua Hai.

तूँ माने या ना माने पर दिल दुखा तो है तेरी बेरुखी से कुछ गलत हुआ तो है।

सोचते है सीख ले हम भी बेरुखी करना.!!प्यार निभाते-२ अपनी ही कदर खो दी हमने.!!

तेरे साथ बिताए लम्हों का ख़्वाब था हमें, वो ख़्वाब तोड़ दिया, अब बाकी सब धुंदला सा लगता है।

कुछ बेरुखी से ही सही !!पर देखते तो हो !!ये आपकी नफरत है कि !!एहसान आपका !!

उदास कर देती है हर रोज ये शाम मुझे, लगता है कोई भूल रहा धीर-धीरे मुझे !

वक्त भी था, मौका भी था और तन्हाई भी.!!लेकिन बेरुखी उसकी बरकरार रही मेरे प्रति.!!

ये तो अच्छा है कि दिल सिर्फ सुनता है.!!अगर कहीं बोलता होता तो क़यामत आजाती.!!

“जहाँ प्यार है वही जिंदगी है।”Jahan Pyar Hai Vahi Jindagi Hai.

जो सबको संभालने की कोशिश करता है न, उसको संभालना हर कोई भूल जाता है !

किसी व्यक्ति के आपके पास आने के तीन कारण होते हैं पहला अभाव दूसरा प्रभाव तीसरा भाव।

बहुत दर्द होता है जब आपको वो इंसान इग्नोर करें, जिसके लिए आप पूरी दुनिया को इग्नोर करते हैं.

रुठुंगा अगर तुजसे तो इस कदर रुठुंगा की ,, ये तेरीे आँखे मेरी एक झलक को तरसेंगी !!

तेरे ज़ख्मों को छूकर अब हम भी रो दिये, मोहब्बत के रस्ते से हम आख़िरी मोड़ पे रुक गए।

मेरे पॅल्को मे भरे आँसू उन्हे पानी सा लगता है हमारा टूट कर चाहना उन्हे नादानी सा लगता है

कुछ बेरुखी से ही सही !!पर देखते तो हो ये आपकी !!नफरत है कि एहसान आपका !!

पहले सी बात न थी, इश्क अब फीका था.!!अभी-अभी उन्होंने नजरअंदाजी का हुनर सीखा था.!!

पहले सी बात न थी,इश्क अब फीका था !!अभी-अभी उन्होंने नजरअंदाजी का हुनर सीखा था !!

मुस्कुराहट बयां करती है हकीकत ऐ जिंदगी गमों को साइड रखकर जीना ही है जिंदगी..!!

मतलब क्या हुआ बेरूखी का, है कौन मुजरिम तेरी इस ख़ुशी का, उम्मीद थी जिस से प्यार की ऐ खुदा, बुझ गया वो चिराग कभी का. Apno Ki Berukhi Shayari

खुदा ने किस्मत में साँसे लिखी थी, इंसानो ने रोक दी।

हम उस बेवफा को बेइंतहा चाहने लगे थे हमें क्या पता था कि वो तो हमें सिर्फ आजमाने लगे थे..!!

दर्द का अहसास तोउन्होंने करवाया था,फिर क्यों न चाहते हुए भीउन्होंने दर्द दिया हमें.

उनकी बेरुखी का यारो अब गिला क्या करना दिल ही तो हे भर गया होगा।

सिर्फ सहने वाला ही जानता है, की दर्द कितना गहरा है।।

रहने दे अभी गुंजाइशें जरा अपनी.!!बेरुखी में इतना ना तोड़ मुझे कि.!!मैं किसी और से जुड़ जाऊँ.!!

हर साँस में उनकी याद होती है,मेरी आंखों को उनकी तलाश होती है,कितनी खूबसूरत है चीज ये मोहब्बत,कि दिल धड़कने में भी उनकी आवाज होती है.

अब गिला क्या करना उनकी बेरुखी का !!दिल ही तो था भर गया होगा !!

बारिश के बाद तार पर टंगीआख़री बूंद से पूछना,क्या होता है अकेला पन.

इसलिए तू अपने को पहचान कर अर्थात अज्ञान व मोह, वासनाओं का त्याग कर मान प्राप्त करके ईश्वर का स्मरण कर ।

तेरे ख्वाबों की दुनिया से हम जुदा हो गए, बेवफाई की क़िस्मत से हम रुबारू हो गए।

इस दिल को आखिरकार कुछ तो मिला, तेरी महोब्बत ना सही लेकिन तेरी बेरुखी का हिस्सा तो बना।

“यह इश्क है जनाब, इसे अधुरा ही रखिये, पूरा हो गया तो भुला दिया जायेगा।Yah Ishk Hai Janab, Ise Adhura Hi Rakhiye, Poora Ho Gaya To Bhula Diya Jayega.

तुम से बिछड के फर्क बस इतना हुआ,तेरा गया कुछ नहीँ और मेरा रहा कुछ नहीँ !

मेरी आंखों में जो नमी है,वज़ह तुम नही तुम्हारी ही कमी है.

तू हमसे चाँद इतनी बेरुखी से बात करता.!!है हम अपनी झील में एक चाँद उतरा.!!छोड़ आए हैं.!!

कबीरदास जी कहते हैं कि धीरज रखने के कारण ही हाथी मन भर खाता है पर धीरज न रखने के कारण कुत्ता एक-एक टुकड़े के लिए घर-घर मारा-मारा फिरता है ।

सिखा दी बेरुखी भी ज़ालिम ज़माने ने !!तुम्हें कि तुम जो सीख लेते हो हम पर !!आज़माते हो !!

तेरी बेरुखी को भी रुतबा दिया हमने !!तेरे प्यार का हर क़र्ज़ अदा किया हमने !!मत सोच के हम भूल गए है तुझे आज !!भी खुदा से पहले याद किया है तुझे !!

माया और छाया एक समान है इसको कोई बिरला ही जानता है ये अज्ञानियों के पीछे लग जाती है तथा ज्ञानियों से दूर भाग जाती है ।

कभी-कभी हाथ छुड़ाने की ज़रूरत नहीं होती,कुछ लोग तो साथ रह कर भी बिछड़ जाते हैं.

कहाँ पूरी होती है दिल की सारी ख्वाइशेंकि बारिश भी हो ,यार भी हो और पास भी हो.

बेवक्त बेवजह बेसबब सी बेरुखी तेरी.!!फिर भी बेइंतहा तुझे चाहने की बेबसी मेरी.!!

#जरा तल्ख लहजे में बात कर जरा बेरुखी से पेश आ, मै इसी नजर से तबाह हुआ हू मुझे देख ना यू प्यार से!!

तेरी दुनिया में मुझे एक पल दे दे.!!मेरी बेरुखी ज़िन्दगी का गुज़रा हुआ कल दे दे.!!वो वक्त जो गुज़ारा था साथ तेरे.!!अब उन्हें भूल पाऊं ऐसा कोई हल दे दे.!!

लौट आती है हर बार दुआ मेरी खाली !!जाने कितनी ऊचाई पर भगवान रहता है !!

ज़रूरी तो नहीं की प्यार का रिश्ता सिन्दूर तक ही पहुँचे साहब, क्योंकि एक तरफा प्यार भी कमाल होता है।

#कभी ऐसी भी बेरुखी देखी है तुमने ऐ दिल, लोग आप से तुम तुम से जान जान से अनजान हो जाते हैं!!!

तेरी बेरुखी है तो क्या हुआ.!!तेरी यादों का रुख आज भी मेरी तरफ.!!ही है !जब भी तन्हा देखती है मुझे.!!अपना समझकर बहलाने चली आती है.!!

वफ़ा के बदले बेवफाई ना दिया करो.!!मेरी उम्मीद ठुकरा कर इंकार ना किया करो.!!तेरी मोहब्बत में हम सब कुछ खो बैठे.!!जान चली जायेगी इम्तिहान ना लिया करो.!!

अच्छी संगति से सुख प्राप्त होता है एवं कुसंगति से दुःख अतः कबीरदास जी कहते हैं कि उस स्थान पर जाना चाहिए कि जहाँ साधु (अच्छी) संगति की प्राप्ति हो ।

शिकायत न करना किसी से बेरुखी की.!!इंसान की फितरत ही होती है.!!जो चीज़ पास हो उसकी कद्र नही करता.!!

मेरी खामोशियां गुस्सा बहुत भरा पड़ा !!है दिमाग में इश्क जो बेहिसाब करता हूं !!उससे !!

#डर तो उसे भी होगा बिछड़ने का मुझसे, मेरी बेरुखी से वो सहम क्यों नहीं जाता!!!

दिल हमेशा वो लोग ही तोड़ते है,जो हमारे दिल में रहते हैं.

उसकी बेरूखी ने छीन ली मेरी शरारतें, लोग समझते है सुधर गया हूँ मैं.

मरने के नाम से जो रखते थे मुँह पे उँगलियाँ,अफ़सोस वही लोग मेरे दिल के क़ातिल निकले.

तेरी यादो का सिलसिला कभी ख़त्म ना होगा, तेरे जाने के बाद अब इस दिल को फिर किसी से इश्क़ ना होगा।

अब कैसे समझाऊ इस दिल को की अब वो वापस लौटकर नहीं आने वाले।

दर्द दिलो के कम हो जाते,मैं और तुम अगर हम हो जाते !

#तमाम उम्र जो हमसे बेरुखी की सब ने, कफन में हम भी अजीजो से मुंह छुपा के चले!!!

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