Akelapan Shayari In Hindi 2 Lines : मुझे मेरा अकेलापन ही कुछ ज्यादा भाता है, इन खोखले बनावटी रिश्तों के बीच दिल घबराता है। यूँ ही बेवजह न मुझे वो खोजता होगा, शायद उसे भी ये अकेलापन नोचता होगा।
किसी हालत में भी तन्हा नहीं होने देती है यही एक ख़राबी मिरी तन्हाई की।
अगर खुल कर जिना है, तो कभी किसी पर मरना नही।
“ तुझे क्या खबर थीकी तेरी यादो ने किस-किस तरह सताया,कभी अकेले में हसांयातो कभी महफ़िलो में रुलाया…!!
“ मज़हबी बहस मैने की ही नहीं,फालतु अक्ल मुझ में है ही नहीं…!!
“ अकेले ही तय करने होते हैंकुछ सफर,हर सफर में हमसफर नही होते…!!
दुख होता है अब अपने हाल पर किकोई मुझे कभी यह नहीं कहता कितू क्यों परेशान है?तु क्यों रो रही है?बस अकेले ही जीनाअब तो मेरी आदत सी बन गई है!!
तेरी बेवफाई का किस्सा जब जब याद आएगा मेरे तन बदन में एक आग सी भड़काएगा, जो तूने किया कोई दुश्मन भी नहीं करता देख लेना एक दिन तू भी बोहत पछताएगा..!!
तुझे ज़िन्दगी भर याद रखने की कसम तो नहीं ली,पर एक पल के लिए तुझे भूल जाना भी मुश्किल है
छोड़ जाओ अकेला मुझे अँधेरे में, मैं अपना सवेरा खुद ले आऊंगा।
कोई संभल नहीं सकता कुछ इस क़दर गिर रहा हूँ, मैं अकेला नहीं हूँ जो टूटा दिल लिए फिर रहा हूँ।
मुझे नफरत है लोगों को अपनी जिंदगी में लाने से, वो हमेशा अकेला छोड़ जाते हैं।
“ अकेला चलना सीखोक्योंकि सहारा कितना भी सच्चा हो,एक दिन औकात दिखा ही देता है…!!
मुझे अकेला छोड़ दो.. मैं जानता हूँ मुझे क्या करना है।
एक रोज़ पूरा छोड़ दिया मैंने उसको,वो रोज़ मुझे थोड़ा थोड़ा छोड़ता था ।
रहना कभी संग तन्हाई के भी सच उससे बेहतर कोई साथी नहीं है।
एक महफ़िल में कई महफ़िलें होती हैं शरीक जिस को भी पास से देखोगे अकेला होगा।
वो जिंदगी भी मौत से कम नहीं हैं,अगर दिल में रहनेवाले जिंदगी मेंनही हैं !
“अब क्यों न जिंदगी पर मोहब्बत को वार दे , इस आशिकी में जान से जाना बहुत हुआ”
कितना भी पकड़ लो फिसलता जरुर है,ये लड़का है जनाब बदलता जरुर है kitnaa bhi pakd lo phisaltaa jarur hai,ye ldkaa hai janaab badaltaa jarur hai
उदास दिलो को हमदर्द मिलते हैहमसफर नही.!
अब तो मन करता है किहम भी दुनिया की तरहइतने बदल जाए किलोग हमारी पहले जैसी सूरतदेखने को तरस जाए!!
किसी को उजाड़ कर बसे तो क्या बसे,किसी को रुलाकर हंसे तो क्या हंसे.
हर ज़ुल्म तेरा याद है भूला तो नहीं हूँ,ऐ वादा फरामोश मैं तुझ सा तो नहीं हूँ..
एक तेरा ख़्याल ही तो है मेरे पास,वरना कौन अकेले में बैठे कर चाय पीता है।
ख़ुद पर मुझे यक़ीन तो है इतनाकि रोएगा वो सख़्शमुझे फिर से पाने के लिए!!
“बारिश के बाद तार पर टंगी आख़री बूंद से पूछना, क्या होता है अकेला पन।”
खुश वही है जिसने अकेले मेंमुस्कुराने का हुनर सीख लिया।
“आज उसने रुलाया है, जिसने मुस्कुराना सिखाया था।”
सारी उम्र बस एक ही सबक याद रखना,दोस्ती और दुआ में बस नियत साफ़ रखना.
दुआ करना दम भी उसी तरह निकले,जिस तरह तेरे दिल से हम निकले.
“ किसे अपना कहा जायसभी दिल तोड़ जाते हैं,सज़ाकर दिल की महफिलको अकेला छोड़ जाते हैं…..!!!
कभी कभी आपके आस पास लोग होते हैं, फिर भी अकेलापन लगता है।
जनाब जिंदगी में आकेलेपन और एहसासों के बड़ा काम होता हैं, जो दूसरे के गमों को अपनाता हैं वही इंसान होता हैं।
जब साथ था तेरा हाथ, जीवन था खुशियों का सागर। पर अब तू दूर है मेरे पास से, बन गई है ये जिंदगी का कठिन सफर।
रात ये मुझसेे बहुत मोहब्बत करती है सब सो जाएं तब अकेले में बात करती है ❈❈❈❈❈❈❈❈❈
हम दौलत नहीं जो सभी के मन को भाएंगे, हम अकेले आए थे अकेले ही जानेगे ।
अगर मजबूत बनना है तोजिंदगी में अकेले रहना सीख लोक्योंकि अकेलेपन में हीजिंदगी सब कुछ सिखा देती है।
घर बना कर मेरे दिल में वो छोड़ गया न खुद रहता है न किसी और को बसने देता है।
“ मत करना इश्क़ बहुत झमेले है,हसते तो साथ में हैमगर रोते अकेले है…!!
मैं वो हूँ हरदिन दूसरों के लिए मुस्कुराती हूँ भले ही अंदर से अकेली हूँ।
सपने वह नहीं जो आप नींद में देखते हैं,यह तो एक ऐसी चीज़ हैं जो आपकोनींद ही नहीं आने देती.!
गम से लड़ने को देदे कोई ढाल मुझे या इस दर्द से निकाल मुझे ऐ अकेलापन मुझे मिटाने पे तुला है खुदा अब तू ही संभाल मुझे
तुझे क्या खबर थी की तेरी यादो ने किस-किस तरह सताया,कभी अकेले में हसांया तो कभी महफ़िलो में रुलाया।
खुद में काबलियत हो तो भरोसा कीजिये साहिबसहारे कितने भी अच्छे जो साथ छोड़ जाते है।
आपको कुछ खबर है आप जब जाने लगे,आपके बीमार का उस वक़्त क्या आलम हुआ।
मै अकेला जरूर हूँ,पर अपने दिल का बादशाह हूँ।
“कभी इरादा हो हमे छोड़ के जाने का तो पहले बता देना… क्योंकि, अचानक के हादसे बेमौत मार देते हैं।”
आत्मा कि चोट सिर्फ परमात्मा ही समझता है।
“ हमीं अकेले नहींजागते हैं रातों में,उसे भी नींद बड़ीमुश्किलों से आती हैं…!!
“बहुत तकलीफ देते है वो जख्म जो बिना कसूर के मिले हो।”
झूठी मुस्कान मुस्कुराते पूरी उम्र कट जाएगी महफ़िल की आड़ में तन्हाई कहीं छुप जाएगी ❈❈❈❈❈❈❈❈❈
वैसे महसूस होता है मुझे वक़्त बिताने बाते करते है लोग मुझसे कुछ पल देता हु सबको अब हजारो लम्हे तन्हाई पर लुटाता हूँ
सच्ची मोहब्बत करने वाले इंसान के,नसीब में सिर्फ तन्हाई लिखी होती है..!!
वो ख़ुश हैं अपनों में हम भी अकेले ख़ुश हैं,वादे पर क़ायम रहना कोई हम से सीखिए।
अब सहारे की तो बात मत कर ऐ जालिम जिंदगी, मेरा अकेलापन ही काफी है मेरा सहारा देने के लिए।
एक चाहत होती है, जनाब अपनों के साथ जीने की,वरना पता तो हमें भी है कि.. ऊपर अकेले ही जाना है…
सबसे ज्यादा तोदुःख तो तब होता है…जब आपकी कोई गलती ना हो…लेकिन आपको गलत समझा जाएऔर अकेला कर दिया जाए!!
बहुत शोक था दूसरो को खुश रखने का,होश तब आया जब में खुद अकेला आया।
ज़िन्दगी में ये एक आफत मत पालना, साथ रह लेना भले किसी के मगर किसी की आदत मत डालना।
अकेले रहने का फायदा.. बाथरूम का दरवाजा बंद नहीं करना पड़ता।
बहुत ख़ास हो तुम,ये एहसास दिलाते दिलाते हम आम हो गये
सादगी का ज्ञान सभी देते है,पर मरते सब चेहरे पर ही है saadgi kaa jyaan sabhi dete hai,par marte sab chehre par hi hai
रिश्तों के बाजार में आजकलवो लोग हमेशा अकेले पाए जाते हैंजो दिल और जुबान के सच्चे होते हैं !!
प्यार में इंसानतन्हाइयों का शिकार हो जाता हैक्योंकि प्यार का रास्ता हीतन्हाइयों से होकर जाता है।
कितनी अजीब है इस शहर की तन्हाई भी हजारो लोग है मगर कोई उस जैसा नहीं है ❈❈❈❈❈❈❈❈❈
अब मत खोलना,मेरी ज़िन्दगी की पुरानी किताबो को,जो था वो मैं रहा नहीं,जो हूँ वो किसी को पता नहीं.
“जिंदगी का खेल ही ऐसा है साहब, हंसना भी जरूरी है और रोना भी जरूरी है”
तन्हाइयों के घरौंदे में हम बस गएजो अकेलेपन की दास्तां सुनाईतो मेरी बातों पर लोग हँस दिए।
“ तुम मेरे साथ हो येसच तो नहीं है लेकिन,मैं अगर झूठ न बोलूँतो अकेला हो जाऊँ…!!
अकेलापन नही भाता है, अकेले वक्त नही गुजर पाता है।
सोचा था के वो बोहत टूट कर चाहेगी मुझे..लेकिन चाहा भी हमने और टूटे भी हम।
सच कहा था एक फकीर ने मुझ से तुझेमहोबत तो मिलेगी पर तड़पाने वाली…!!